पालमपुर की प्रख्यात लेखिका श्रीमती सुरेश लता अवस्थी की अति सुन्दर कविता ‘बंधन’

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बंधन

SURESH LATA AWASTHI

CHOWKI, PALAMPUR

Mob : 82787 39443

कितना सुंदर कितना प्यारा बंधन ज़ब एक रिश्ते में बंध जाते दो तन,

लेकर अग्नि के चारों ओर सात फेरे एक दूसरे के बिना सदा होते हैं अधूरे,

सुख और दुख झेलते हैं साथ-साथ एक के फैसले में सदा दूसरे का हाथ,

मिल कर निभाते हैं रिश्तों का बंधन दो परिवारों का है प्यार भरा सम्बन्ध।

बच्चों की जिम्मेदारी बुजुर्गोंकी सेवा सब निभाते हुए आती है अंतिम बेला,

एक के जाने पर हो जाये एक अकेला तब समझ आता है इस जग का मेला ।

फिर भी इस बंधन में बहुत प्यार है क्योंकि इसी से सृष्टि का विस्तार है,

शिव-पार्वती, राम-सीता और कृष्ण-राधा उन्होंने भी इस बंधन में अपने को बांधा।

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