मुख्यमंत्री बदल सकते हैं हिमाचल की तकदीर-भुवनेश सूद की तक़रीर, बन सकते हैं ऐतिहासिक मुख्यमंत्री, भुवनेश ने मुख्यमंत्री की प्रशंसा के बांधे पुल, विदेशी निवेशकों ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह को बताया गरीबों व दुःखी लोगों का मसीहा

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RAJESH SURYAVANSHI
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भुवनेश ने मुख्यमंत्री की प्रशंसा के बांधे पुल विदेशी निवेशकों ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह को बताया गरीबों व दुःखी लोगों का मसीहा

अभी हाल ही में होटल टी बड पालमपुर में भुवनेश सूद व विदेशी निवेशकों के बीच हुई वार्ता तथा आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में विदेशी निवेशकों ने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू को गरीबो, जरूरतमंदों व दुखी लोगों का मसीहा बताते हुए उनसे आग्रह किया है कि वह जनहित से जुड़े कार्यों के लिए और अधिक शक्ति से आगे आएं और औषधीय पौधों के उत्पादन पर जोर दें क्योंकि यही एक ऐसा मात्र साधन है जिससे Almost की गरीब जनता अमीर बन सकती है और जड़ से गरीबी को समूल रूप से खत्म किया जा सकता है ।

उन्होंने कहा कि शराब को बढ़ावा देने के उद्देश्य से अंग्रेजों ने भांग जो कि एक दिव्य बूटी है के उत्पादन पर रोक लगाने व उसे बैन करने का भरसक प्रयत्न किया और आज भी यह साजिश बदस्तूर जारी है शराब माफिया भांग की खेती को लीगलाइज होने नहीं देता क्योंकि ऐसा करने से शराब की खपत बेहद कम हो जाएगी।

यह भी सर्वविदित है कि शराब और अन्य नशीले पदार्थों की उपलब्धता बहुत सहज है जबकि भांग को प्राप्त करना इतना आसान कार्य नहीं है उन्होंने कहा कि भानगढ़ दिव्य बूटी है जिससे बड़ी-बड बीमारियों का जड़ से

नाश किया जा सकता है। भांग के तेल से भयंकर बीमारियों पर काबू पाया जा सकता है। विदेशों में इस दिव्य बूटी की भारी मांग है लेकिन भारत खासकर हिमाचल मैं कोई इसकी गुणवत्ता व उत्पादकता पर ध्यान नहीं देता जो कि अत्यन्त दुर्भाग्यपूर्ण है।

विभिन्न प्रकार के नशीले पदार्थों की हिमाचल में तस्करी जारी है। नन्हे-मुन्ने बच्चों को इसका शिकार बनाया जा रहा है।

भुवनेश सूद ने बड़े ही सहज तऱीके से विस्तार से औषधीय पौधों की गुणवत्ता पर तथा ड्रग्स के दुष्प्रभावों पर प्रकाश डाला।

उल्लेखनीय है कि जिन-जिन देशों ने भांग व अन्य औषधीय पौधों के उत्पादन पर बल दिया वे गरीब देश आज आत्मनिर्भर बन चुके हैं तथा वहां गरीबी का नामोनशान मिट चुका है।

मेजर जनरल जोकि सर्विस कमीशन के चेयरमैन रह चुके हैं, इस इन्वेस्टर्स मीट तथा प्रेस वार्ता के मुख्य वक्ता थे, ने बताया कि अगर मुख्यमंत्री ज़रा सा भी ध्यान दें व भुवनेश सूद के बहुआयामी प्रोजेक्ट को स्टडी करें तो हिमाचल से गरीबी को समूल समाप्त किया जा सकता है। यहां के बच्चों को अपने परिवारों को त्याग कर बाहर जाकर रोज़ी-रोटी कमाने हेतु बाध्य नहीं होना पड़ेगा। प्रदेश का पैसा प्रदेश के काम आएगा और प्रदेश प्रगति करेगा।

उन्होंने कहा कि अगर मुख्यमंत्री जनहित से जुड़े कार्यों में यूं ही अपनी रुचि दिखाते रहे तो वह दिन दूर नहीं जब कर्जे के बोझ में डूबा हिमाचल एक आत्मनिर्भर प्रदेश बन कर उभरेगा तथा पूरी दुनिया में हिमाचल प्रदेश की तूती बोलेगी।

तमाम विदेशी निवेशकों ने श्री भुवनेश सूद द्वारा उठाए गए कदम का हार्दिक स्वागत करते हुए आशा जताई कि भुवनेश सूद द्वारा औषधीय पौधों के उत्पादन की जो मुहिम आरंभ की गई है हिमाचल प्रदेश सरकार उसमें अपना भरसक योगदान देगी तथा आपसी तालमेल के द्वारा हिमाचल को आत्मनिर्भर बनाने में और हजारों करोड़ों रुपए के कर्ज से उबरने में कोई कोर कसर बाकी नहीं छोड़ेगी।

मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू द्वारा उठाया गया यह एक ऐतिहासिक कदम साबित होगा क्योंकि विदेशों में इस कदम के सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं जिनकी हर जगह प्रशंसा हो रही है। मुख्यमंत्री के इस उपकार को प्रदेश की जनता कभी भुला नहीं पाएगी।

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