नई दिल्ली: कई शहरों में कोविड वैक्सीन की कमी के चलते वैक्सीनेशन की रफ्तार धीमी पड़ गई है। दिल्ली, महाराष्ट्र, पंजाब समेत कई राज्यों में वैक्सीन की कमी के चलते टीकाकरण केंद्रों को बंद करने का दावा किया गया है। वहीं नए स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने राज्यों के आरोपों को निराधार और बेबुनियाद बताया है।
बुधवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने ट्वीट कर वैक्सीन की किल्लत के दावों को खारिज किया। स्वास्थ्य मंत्री मंडाविया ने एक के बाद एक ट्वीट कर वैक्सीन की किल्लत की शिकायतों पर जवाब दिया। उन्होंने लिखा, ‘वैक्सीन की उपलब्धता के संदर्भ में मुझे विभिन्न राज्य सरकारों और नेताओं के बयान एवं पत्रों से जानकारी मिली है। तथ्यों के वास्तविक विश्लेषण से इस स्थिति को बेहतर ढंग से समझा जा सकता है। निरर्थक बयान सिर्फ लोगों में घबराहट पैदा करने के लिए दिए जा रहे हैं।’
उन्होंने दूसरे ट्वीट में कहा, ‘सरकारी और निजी अस्पतालों के जरिए टीकाकरण हो सके, इसलिए जून महीने में 11.46 करोड़ वैक्सीन की डोज राज्य सरकारों और केंद्र शासित प्रदेशों को उपपलब्ध कराए गए और जुलाई के महीने में इस उपलब्धतता को बढ़ाकर 13.50 करोड़ किया गया है।’
केंद्रीय मंत्री मंडाविया ने कहा, ‘जुलाई में राज्यों में वैक्सीन की कितनी डोज उपलब्ध होगी, इसकी जानकारी केंद्र ने राज्यों को 19 जून, 2021 को ही दे दी थी। इसके बाद 27 जून और 13 जुलाई को केंद्र की ओर से राज्यों को जुलाई के पहले और दूसरे पखवाड़े के लिए उन्हें हर दिन की वैक्सीन उपलब्धता की जानकारी बैच के हिसाब से एडवांस में ही दे दी गई। इसलिए राज्यों को यह अच्छी तरह से पता है कि उन्हें कब और कितनी मात्रा में वैक्सीन डोज मिलेंगे। इसके बावजूद राज्यों की ओर से वैक्सीन कमी की शिकायतें की जा रही है। देश में भ्रम की स्थिति पैदा करने के लिए ऐसे बयान दिए जा रहे हैं।
स्वास्थ्य मंत्री ने राज्यों पर निशाना साधते हुए कहा कि केंद्र पहले से ही ये जानकारियां एडवांस में दे रही है और इसके बावजूद हमें कुप्रबंधन और वैक्सीन लेने वालों की लंबी कतारें दिख रही हैं तो यह साफ है कि समस्या क्या है और इसकी वजह कौन है।