SANSAR SHARMA
OEEE Training का ग्रुप नंबर दो का तीसरा दिन कुछ इस अंदाज में
सबसे पहले गायत्री मंत्र के साथ प्रार्थना,उसके बाद चार्ट द्वारा प्रस्तुति,इसके बाद पिछले दिन का रिकैप,इसके बाद स्वास्थ शिक्षिका श्रीमती दया देवी जी ने आशा से कहा कि आज ट्रेनिंग का तीसरा दिन है आज का टॉपिक आंखों के बारे में जानकारी के बारे में है।आंखों के ऊपर काफी गीत भी लिखे गए हैं आंखें प्रकृति द्वारा दिया गया अनूठा उपहार है।आंखों के बिना जीवन बहुत कठिन हो जाता है।पांच इंद्रियों से शुरुआत करते हुए नेत्र की संरचना बारे जानकारी दी गई, हम कैसे देखते हैं विस्तार से समझाया गया।
इसके बाद Dr. सुनील त्यागी जी ने अपने अंदाज में आशा को बताया कि अपने कार्य क्षेत्र में कम दृष्टि वाले मोतियाबिंद वाले ,रोगियों को पहचाने ब नजदीकी स्वास्थ्य संस्थान में दिखाएं।E चार्ट द्वारा लोगों की दृष्टि को चैक करते रहें।लोगों को विटामिन ए युक्त भोजन लेने की सलाह दें। जैसे हरी पत्तेदार सब्जियां,पपीता, गाजर,दूध से बने उत्पाद मक्खन, घी,इतियादी। सफेद मोतिया, काला मोतिया बारे जानकारी देते हुएआशा को सफेद मोतिया, काला मोतिया की पहचान बारे बताया गया ।आशा को बताया गया कि रोगियों की पहचान करके नजदीकी स्वास्थ्य संस्थान में रोगियों को चैक कर कराएं लोगों को बताएं कि एकमात्र आपरेशन ही इसका इलाज है इसके बाद Dr. अरुण राणा जी ने आशा को बताया कि लोगों को सलाह दें कि अपने आंखों को पानी से धोएं।जितनी दवाई डालने को बताई गई हो उतनी ही डालें ऑपरेशन के बाद भी आंख को तेज रोशनी,टीबी,मोबाइल, धूल, चुल्ले के धुएं से आंख में पानी जाने से Dr. द्वारा निर्धारित जांच की अवधि तक बचाएं।
अगर चश्मा लगा है तो जरूर लगाएं।एक दूसरे का चश्मा इस्तेमाल न करें। आंखों की सामान्य बीमारियों बारे चर्चा हुई। इसके बाद Dr. नवीन राणा बीएमओ भवारना जी ने अपने विचार रखे उन्होंने आशा से ट्रेनिंग कैसे चली है क्या सीख रहे हैं से बात को बढ़ाते हुए आशा से कहा कि शायद मैडम जी ने भी पोलियो के तीसरे टीके बारे या जिसको पोलियो के टीके का बूस्टर डोज भी कह देते हैं जनवरी 2023 से बच्चों को जो नौ महीने पूरे होने पर एमआर ,PCV Booster के साथ ही पोलियो का टीका भी लेफ्ट आर्म में लगाया जाएगा तो अपने कार्य क्षेत्र में जाकर लोगों को जानकारी दें।यह पोलियो मुक्त होने के लिए जरूरी डोज है। आशा को तरोताजा रखने के लिए कुर्सी दौड़ खेल भी करवाई गई ।विटामिन ए युक्त भोजन के लिए भी खेल के जरिए समझाया गया इसके बाद अगले दिन का काम तीनों ग्रुप को अलग अलग दिया गया।