स्नो-फ़ेस्टिवल में त्रिलोकनाथ (टुंडे) में सांस्कृतिक कार्यक्रम, डॉ मार्कण्डेय ने मुख्यातिथि के रूप में की शिरकत

शिक्षा मन्त्री  डॉ रामलाल मार्कण्डेय ने  त्रिलोकनाथ में  आयोजित कार्यक्रम में शिरकत की

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स्नो-फ़ेस्टिवल में आज त्रिलोकनाथ (टुंडे) में सांस्कृतिक कार्यक्रम, डॉ मार्कण्डेय ने मुख्यातिथि के रूप में की शिरकत

‘स्नो-फ़ेस्टिवल’ के कार्यक्रम की कड़ी में तकनीकी शिक्षा मन्त्री  डॉ रामलाल मार्कण्डेय ने  त्रिलोकनाथ में  आयोजित कार्यक्रम में शिरकत की

INDIA REPORTER NEWS
KEYLONG : IR CORRESPONDENT

त्रिलोकनाथ में आज, सांस्कृतिक कार्यक्रम का आगाज़ सभी महिला व युवक मण्डलों द्वारा निकाली गई भव्य झांकी यात्रा के साथ किया गया। त्रिलोकनाथनाथ मन्दिर में पूजा-अर्चना ने बाद झांकी यात्रा कार्यक्रम स्थल तक पहुंची।
आकर्षक पुरातन विरासती वस्तुओं व हस्तशिल्प से बनी चीजों की प्रदर्शनी का अवलोकन करने के पश्चात डॉ मार्कण्डेय  सांस्कृतिक कार्यक्रमों का शुभारम्भ  के साथ किया ।
मंत्री रामलाल मारकंडा ने इस अवसर पर कहा कि अटल टनल के खुल जाने से लाहौल घाटी के लोगो को बर्फ़ की कैद से छुटकारा मिलने  के उपलक्ष्य पर स्नो फेस्टिवल का आगाज हुआ है ।
ये फेस्टिवल हर साल मनाया जायेगा । अगले वर्ष हर गाँव मे यह स्नो फ़ेस्टिवल मनाया जाएगा। लाहौल की संस्कृति, खान -पान  सब कुछ अपने आप मे बहुत ही विशिष्ट है। गर्मियों में ट्राइबल युवा उत्सव सिस्सु से शुरू होकर पूरे लाहौल की भागीदारी से होगा आयोजन। सरकार ने साहसिक खेलों सहित पैराग्लाइडिंग के लिए नियम बनाये हैं।
पुरातन धरोहर के संरक्षण के लिए त्रिलोकीनाथ मन्दिर में  एक बढ़िया म्यूज़ियम बनाया जाएगा।
उन्होने कहा कि इस फ़ेस्टिवल के माध्यम से  समृद्ध  ट्राइबल संस्कृति को एक मंच पर लाने व यहां के पारंपरिक खेलों को बढ़ावा देने के उद्देश्य से  मनाया जा रहा है , और हर वर्ष मनाया जाएगा।
उन्होनें बताया कि सुविधाओं के अभाव में इस बार सर्दियों में पर्यटक नही पहुँच पाए। आने वाले समय मे संरचनात्मक ढांचे को विकसित किया जायेगा ताकि पर्यटन गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा। भविष्य में  ज़िप लाइनिंग, चादर-ट्रेकिंग आदि नए परियोजनाओं को भी पर्यटन के साथ जोड़ा जाएगा। पूरे लाहौल को टेलीकॉम नेटवर्क से जोड़ा जाएगा। अगली सर्दियों तक लाहौल मे 24 घंटे, प्रतिदिन नल में पानी की सुविधा दी जाएगी।
कार्यक्रम में महिला मण्डल त्रिलोकनाथ, हिन्सा, शकोली, बरदंग, छातिंग, मशादी, किशोरी, कुकुमसेरी, आदि की टीमों ने अपने -अपने लोक नृत्यों से सभी का मन मोह लिया।
अवसर पर डॉ मारकंडा ने पारंपरिक व्यंजनों , कार्यक्रम में उपस्थित सभी लोगों को पारम्परिक व्यंजन चिलड़ा, मन्ना, सिड्डू आदि भी परोसे गए।
मुख्यातिथि ने कोविड योद्धायों को भी सम्मानित किया तथा सभी प्रस्तोता महिला मण्डलों को 15-15 हज़ार देने की भी घोषणा की।
इस अवसर पर टीएसी सदस्य शमशेर,  एसडीएम उदयपुर राजकुमार, निदेशक उच्च शिक्षा सुरजीत राव सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।

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