राजेश सूर्यवंशी की PM मोदी से गुहार, बन्द करो वक़्फ़ बोर्ड का अत्याचार, भारत को बचाओ वरना कहाँ जाएंगे हिंदुओं के मासूम परिवार, चाय बाग़ानों की हज़ारों करनाल ज़मीन पर कुछ चाय बागान मालिकों के अवैध कब्जे, करवाईं फ्रॉड रजिस्ट्रियां
हिमाचल की राजधानी शिमला में उस समय हड़कंप मच गया जब डीसी आफिस में एक व्यक्ति को विजिलेंस विभाग ने सरेआम रिश्वत लेते धर-दबोचा।
जानकारी के अनुसार डीसी ऑफिस में शिमला वक्फ बोर्ड के स्टेट इंचार्ज सादिक मोहम्मद को रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया है।
मोहम्मद वक्फ बोर्ड की प्रापर्टी के नवीनीकरण यानि रिन्यूअल करने के लिए एक लाख की रिश्वत ले रहा था।
कुछ लोगों ने इसकी शिकायत विजिलेंस विभाग को की । विजिलेंस की टीम डीसी ऑफिस पहुंची और इसे रंगे हाथ पकड़ लिया। आरोपी से पूछताछ की जा रही है कि वह किस-किस से पैसे ले रहा था।
विजिलेंस ने प्रॉपर्टी रिन्यूअल से जुड़े दस्तावेज भी अपने कब्जे में लिए हैं । वहीं एसपी विजिलेंस अंजुम आरा ने कहा कि पीसी एक्ट के तहत एक एफआईआर दर्ज हुई है।
शिकायतकर्ता के कहने पर आरोपी सादिक मोहम्मद को पकड़ा गया है। सादिक मोहम्मद वक्फ बोर्ड में स्टेट इंचार्ज है। वह एक लाख रिश्वत लेने के लिए शिमला डीसी ऑफिस आया था। टीम ने इसे रंगे हाथ दबोचा है । इस मामले की गहनता से जांच की जा रही है ।
क्या चाहता है मिशन Against करप्शन
अब प्रश्न यह उठता है कि
क्या चाहता है मिशन Against करप्शन? तो इस विषय में तमाम तहकीकात के बाद संस्था के राष्ट्रीय चेयरमैन राजेश सूर्यवंशी ने भारत सरकार,विशेषकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र भाई मोदी से ज़ोरदार मांग की है कि……
वक्फ बोर्ड की जमीन और संपत्ति की पूरे भारत में जांच होनी चाहिए क्योंकि देश किनाधी सरकारी जमीन पर इसका कब्जा है।जब देश से कुछ मुस्लिम पाकिस्तान गए थे तो उनके घर और जमीन वक्फ की हो गई जबकि हिंदू और सिख जो पाकिस्तान से भारत आए उनकी जमीन जायदाद पर मुस्लिम लोगो का कब्जा हो गया ।
आज भी हर मस्जिद की जमीन वक्फ बोर्ड की है और कोई मुस्लिम अगर बिना सन्तान के मरता है तो उसकी जमीन और संपत्ति भी वक्फ बोर्ड की हो जाती है।लेकिन उस जमीन संपत्ति पर देश और गरीब मुसलमान का कोई हक नही होता बल्कि कुछ अमीर बाहुबली जो वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष और नेता होते ही वही उसका उपयोग करते है। वक्फ बोर्ड निरस्त होना चाहिए क्योंकि यह भ्रष्टाचार का अड्डा बन गया है।
अगर हिमाचल जैसे छोटे से प्रदेश में यह हाल है तो पूरे देश में जहां मुल्ले अत्यधिक संख्या में हैं वहां क्या होगा?
मुश्किलों में है कारण साथियो!
इसके अतिरिक्त पालमपुर और आसपास के क्षेत्रों में हजारों करनाल चाय बागानों में जो पेड़ हैं वह भी अवैध रूप से कुछ चाय बागान मालिकों ने फ्रॉड रजिस्ट्रियां करवा कर अपने नाम पर कर लिए हैं इसकी छानबीन जारी है तथा पुख्ता सबूत जुटाए जा रहे हैं। इसके बारे में जल्द ही पाठकों को सूचित करेंगे।
उल्लेखनीय है कि यह खरबों रुपए का अवैध भूमि कांड है जिस पर से पर्दा उठाना अत्यंत आवश्यक हो गया है। इस भू-काण्ड में बड़े-बड़े भू पतियों का भंडाफोड़ होगा। बड़े-बड़े रेवेन्यू अधिकारियों पर भी गाज गिरना संभव है।