खालिस्तान वालों की धमकी क्या भाजपा आई टी सेल का चुनावी स्टंट था ? : Adv. Vinay Sharma, Former DAG, HP
खालिस्तान वालों की धमकी क्या भाजपा आई टी सेल का चुनावी स्टंट था ?
खालिस्तान वालों की धमकी क्या भाजपा आई टी सेल का चुनावी स्टंट था ?
RAJESH SURYAVANSHI
खालिस्तान वालों की धमकी क्या भाजपा आई टी सेल का चुनावी स्टंट था ? क्योंकि पंजाब के मुख्यमंत्री को यह धमकी न देकर हिमाचल के मुख्यमंत्री को धमकी कुछ हज़म सी नहीं होती।
कथित खालिस्तानी पंजाब को खालिस्तान बनाने के सपने देखते थे जिसे इंदिरा गांधी और उसके बाद बेअंत सिंह जी ने कुचल कर रख दिया था।पंजाब से आतंकवाद खत्म हुए भी 20 साल से ऊपर हो गए हैं ऐसे में यह धमकी टोटली फ़र्ज़ी लगती है।
1971 से पहले हरियाणा और हिमाचल प्रदेश के कुछ हिस्से एकीकृत पंजाब के हिस्से थे और 1947 के पहले पाकिस्तानी पंजाब भी पंजाब का हिस्सा था।
कथित खालिस्तानियों ने जब आतंकवाद फैलाया था उन दिनों भी कभी उन्होंने हिमाचल य हरियाणा पर अपना कथित हक नहीं जताया था ऐसे में यह धमकी ओर उसके अगले दिन ” मैं मुख्यमंत्री के साथ हूँ ” टाइप स्लोगन चार साल पुरानी नाकाम सरकार के चुनावी हथकंडे नहीं तो ओर क्या हैं ?
मैंने कथित धमकी वाली ऑडियो सुनी।अपने भी सुनी होगी। बोलने वाला न पंजाबी लग रहा था न ही कनाडा, ऑस्ट्रेलिया य अमेरिका का।उसकी आवाज़ ओर एक्सेंट सब बनाबटी थे।यह कथित आई टी सेल की कारस्तानी लग रही है ताकि इमोशनल कार्ड फेंक कर उपचुनाव जीते जा सकें।
नाकाम सरकारें जब कुछ कर नहीं पाती तब इमोशनल कार्ड खेलकर चुनाव जीतने की कोशिश करती हैं। 2019 चुनाव नाकाम केंद्र सरकार द्वारा विकास की जगह पुलवामा के नाम पर जीता गया था।भाजपा आजतक विकास के नाम पर कभी जीत नहीं सकी।
शाइनिंग इंडिया के नाम पर वाजपेयी साहब ने चुनाव लड़ा था तो करारी हार हुई थी।उसके बाद कभी भाजपा विकास के नाम पर चुनाव लड़ने की हिम्मत नहीं जुटा सकी।मीडिया ने भी इस मामले को ज्यादा तूल नहीं दिया क्योंकि उनके बुद्धिजीवी भी जानते हैं कि खालिस्तानियों का हिमाचल से कोई लेना देना नहीं है तो वो ऐसी धमकी क्यों देंगे ?
15 अगस्त ओर तिरंगा झंडा हर देश वासी के दिल से जुड़े हैं तो यह कथित धमकी उससे जोड़ दी गई ताकि जनता इमोशनल होकर गुमराह हो सके।लेकिन यह लोग भूल गए कि हिमाचल की जनता भोली जरूर है पर मूर्ख नहीं।
पिछली बार भी यह लोग गुड़िया मामले को तूल देकर सत्ता हथिया ले गए थे अब यही मामला इनके गले की फांस न बने इसलिए यह कार्ड खेला जा रहा है।
सोशल मीडिया पर लोगों ने इसे सीरियसली नहीं लिया।अब भाजपा की उल्टी गिनती शुरू हो चुकी है तो इस तरह की अनाप शनाप स्टोरी गढ़कर यह लोग प्रदेश के पढ़े लिखे लोगों को मूर्ख बनाने की कोशिश करके खुद मूर्ख बन रहे हैं।
इन्हें यह नहीं मालूम कि काठ की हांडी एक बार ही चढ़ती है।जय हिंद
विनय शर्मा एडवोकेट
हिमाचल हाई कोर्ट शिमला
पूर्व डिप्टी एडवोकेट जनरल
हिमाचल सरकार
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